ये बाइबल की वे आयतें हैं जो इस बारे में बात करती हैं सुनवाई
रोमियो 10 : 17
17 सो विश्वास सुनने से, और सुनना मसीह के वचन से होता है।
यशायाह 55 : 11
11 उसी प्रकार से मेरा वचन भी होगा जो मेरे मुख से निकलता है; वह व्यर्थ ठहरकर मेरे पास न लौटेगा, परन्तु, जो मेरी इच्छा है उसे वह पूरा करेगा, और जिस काम के लिये मैं ने उसको भेजा है उसे वह सफल करेगा॥
Leave a Reply