पशु रक्त खाना

ये बाइबल की वे आयतें हैं जो इस बारे में बात करती हैं पशु रक्त खाना

व्यवस्थाविवरण 12 : 23
23 परन्तु उनका लोहू किसी भांति न खाना; क्योंकि लोहू जो है वह प्राण ही है, और तू मांस के साथ प्राण कभी भी न खाना।

उत्पत्ति 9 : 4
4 पर मांस को प्राण समेत अर्थात लोहू समेत तुम न खाना।

प्रेरितों के काम 15 : 20
20 परन्तु उन्हें लिख भेंजें, कि वे मूरतों की अशुद्धताओं और व्यभिचार और गला घोंटे हुओं के मांस से और लोहू से परे रहें।

लैव्यवस्था 17 : 14
14 क्योंकि शरीर का प्राण जो है वह उसका लोहू ही है जो उसके प्राण के साथ एक है; इसी लिये मैं इस्त्राएलियों से कहता हूं, कि किसी प्रकार के प्राणी के लोहू को तुम न खाना, क्योंकि सब प्राणियों का प्राण उनका लोहू ही है; जो कोई उसको खाए वह नाश किया जाएगा।

लैव्यवस्था 17 : 10
10 फिर इस्त्राएल के घराने के लोगों में से वा उनके बीच रहने वाले परदेशियों में से कोई मनुष्य क्यों न हो जो किसी प्रकार का लोहू खाए, मैं उस लोहू खाने वाले के विमुख हो कर उसको उसके लोगों के बीच में से नाश कर डालूंगा।

लैव्यवस्था 3 : 17
17 यह तुम्हारे निवासों में तुम्हारी पीढ़ी पीढ़ी के लिये सदा की विधि ठहरेगी कि तुम चरबी और लोहू कभी न खाओ॥

व्यवस्थाविवरण 12 : 16
16 परन्तु उसका लोहू न खाना; उसे जल की नाईं भूमि पर उंडेल देना।

प्रेरितों के काम 15 : 29
29 कि तुम मूरतों के बलि किए हुओं से, और लोहू से, और गला घोंटे हुओं के मांस से, और व्यभिचार से, परे रहो। इन से परे रहो; तो तुम्हारा भला होगा आगे शुभ॥

उत्पत्ति 1 : 29
29 फिर परमेश्वर ने उन से कहा, सुनो, जितने बीज वाले छोटे छोटे पेड़ सारी पृथ्वी के ऊपर हैं और जितने वृक्षों में बीज वाले फल होते हैं, वे सब मैं ने तुम को दिए हैं; वे तुम्हारे भोजन के लिये हैं:

मरकुस 7 : 18 – 19
18 उस ने उन से कहा; क्या तुम भी ऐसे ना समझ हो? क्या तुम नहीं समझते, कि जो वस्तु बाहर से मनुष्य के भीतर जाती है, वह उसे अशुद्ध नहीं कर सकती?
19 क्योंकि वह उसके मन में नहीं, परन्तु पेट में जाती है, और संडास में निकल जाती है यह कहकर उस ने सब भोजन वस्तुओं को शुद्ध ठहराया।

1 कुरिन्थियों 10 : 31
31 सो तुम चाहे खाओ, चाहे पीओ, चाहे जो कुछ करो, सब कुछ परमेश्वर की महीमा के लिये करो।

1 कुरिन्थियों 10 : 1 – 33
1 हे भाइयों, मैं नहीं चाहता, कि तुम इस बात से अज्ञात रहो, कि हमारे सब बाप दादे बादल के नीचे थे, और सब के सब समुद्र के बीच से पार हो गए।
2 और सब ने बादल में, और समुद्र में, मूसा का बपितिस्मा लिया।
3 और सब ने एक ही आत्मिक भोजन किया।
4 और सब ने एक ही आत्मिक जल पीया, क्योंकि वे उस आत्मिक चट्टान से पीते थे, जो उन के साथ-साथ चलती थी; और वह चट्टान मसीह था।
5 परन्तु परमेश्वर उन में के बहुतेरों से प्रसन्न न हुआ, इसलिये वे जंगल में ढेर हो गए।
6 ये बातें हमारे लिये दृष्टान्त ठहरी, कि जैसे उन्होंने लालच किया, वैसे हम बुरी वस्तुओं का लालच न करें।
7 और न तुम मूरत पूजने वाले बनों; जैसे कि उन में से कितने बन गए थे, जैसा लिखा है, कि लोग खाने-पीने बैठे, और खेलने-कूदने उठे।
8 और न हम व्यभिचार करें; जैसा उन में से कितनों ने किया: एक दिन में तेईस हजार मर गये ।
9 और न हम प्रभु को परखें; जैसा उन में से कितनों ने किया, और सांपों के द्वारा नाश किए गए।
10 और न तुम कुड़कुड़ाएं, जिस रीति से उन में से कितने कुड़कुड़ाए, और नाश करने वाले के द्वारा नाश किए गए।
11 परन्तु यें सब बातें, जो उन पर पड़ी, दृष्टान्त की रीति पर भी: और वे हमारी चितावनी के लिये जो जगत के अन्तिम समय में रहते हैं लिखी गईं हैं।
12 इसलिये जो समझता है, कि मैं स्थिर हूं, वह चौकस रहे; कि कहीं गिर न पड़े।
13 तुम किसी ऐसी परीक्षा में नहीं पड़े, जो मनुष्य के सहने से बाहर है: और परमेश्वर सच्चा है: वह तुम्हें सामर्थ से बाहर परीक्षा में न पड़ने देगा, वरन परीक्षा के साथ निकास भी करेगा; कि तुम सह सको॥
14 इस कारण, हे मेरे प्यारों मूर्ति पूजा से बचे रहो।
15 मैं बुद्धिमान जानकर, तुम से कहता हूं: जो मैं कहता हूं, उसे तुम परखो।
16 वह धन्यवाद का कटोरा, जिस पर हम धन्यवाद करते हैं, क्या मसीह के लोहू की सहभागिता नहीं? वह रोटी जिसे हम तोड़ते हैं, क्या वह मसीह की देह की सहभागिता नहीं?
17 इसलिये, कि एक ही रोटी है सो हम भी जो बहुत हैं, एक देह हैं: क्योंकि हम सब उसी एक रोटी में भागी होते हैं।
18 जो शरीर के भाव से इस्त्रएली हैं, उन को देखो: क्या बलिदानों के खाने वाले वेदी के सहभागी नहीं?
19 फिर मैं क्या कहता हूं क्या यह कि मूरत का बलिदान कुछ है, या मूरत कुछ है?
20 नहीं, वरन यह, कि अन्यजाति जो बलिदान करते हैं, वे परमेश्वर के लिये नहीं, परन्तु दुष्टात्माओं के लिये बलिदान करते हैं: और मैं नहीं चाहता, कि तुम दुष्टात्माओं के सहभागी हो।
21 तुम प्रभु के कटोरे, और दुष्टात्माओं के कटोरे दोनों में से नहीं पी सकते! तुम प्रभु की मेज और दुष्टात्माओं की मेज दोनों के साझी नहीं हो सकते।
22 क्या हम प्रभु को रिस दिलाते हैं ?क्या हम उस से शक्तिमान हैं?
23 सब वस्तुएं मेरे लिये उचित तो हैं, परन्तु सब लाभ की नहीं: सब वस्तुएं मेरे लिये उचित तो हैं, परन्तु सब वस्तुओं से उन्नित नहीं।
24 कोई अपनी ही भलाई को न ढूंढे, वरन औरों की।
25 जो कुछ कस्साइयों के यहां बिकता है, वह खाओ और विवेक के कारण कुछ न पूछो।
26 क्योंकि पृथ्वी और उसकी भरपूरी प्रभु की है।
27 और यदि अविश्वासियों में से कोई तुम्हें नेवता दे, और तुम जाना चाहो, तो जो कुछ तुम्हारे साम्हने रखा जाए वही खाओ: और विवेक के कारण कुछ न पूछो।
28 परन्तु यदि कोई तुम से कहे, यह तो मूरत को बलि की हुई वस्तु है, तो उसी बताने वाले के कारण, और विवेक के कारण न खाओ।
29 मेरा मतलब, तेरा विवेक नहीं, परन्तु उस दूसरे का। भला, मेरी स्वतंत्रता दूसरे के विचार से क्यों परखी जाए?
30 यदि मैं धन्यवाद करके साझी होता हूं, तो जिस पर मैं धन्यवाद करता हूं, उसके कारण मेरी बदनामीं क्यों होती है?
31 सो तुम चाहे खाओ, चाहे पीओ, चाहे जो कुछ करो, सब कुछ परमेश्वर की महीमा के लिये करो।
32 तुम न यहूदियों, न यूनानियों, और न परमेश्वर की कलीसिया के लिये ठोकर के कारण बनो।
33 जैसा मैं भी सब बातों में सब को प्रसन्न रखता हूं, और अपना नहीं, परन्तु बहुतों का लाभ ढूंढ़ता हूं, कि वे उद्धार पाएं।

लैव्यवस्था 7 : 23 – 24
23 इस्त्राएलियों से इस प्रकार कह, कि तुम लोग न तो बैल की कुछ चरबी खाना और न भेड़ वा बकरी की।
24 और जो पशु स्वयं मर जाए, और जो दूसरे पशु से फाड़ा जाए, उसकी चरबी और और काम में लाना, परन्तु उसे किसी प्रकार से खाना नहीं।

व्यवस्थाविवरण 14 : 21
21 जो अपनी मृत्यु से मर जाए उसे तुम न खाना; उसे अपने फाटकों के भीतर किसी परदेशी को खाने के लिये दे सकते हो, वा किसी पराए के हाथ बेच सकते हो; परन्तु तू तो अपने परमेश्वर यहोवा के लिये पवित्र समाज है। बकरी का बच्चा उसकी माता के दूध में न पकाना॥

यशायाह 66 : 3
3 बैल का बलि करने वाला मनुष्य के मार डालने वाले के समान है; जो भेड़ के चढ़ाने वाला है वह उसके समान है जो कुत्ते का गला काटता है; जो अन्नबलि चढ़ाता है वह मानो सूअर का लोहू चढ़ाने वाले के समान है; और, जो लोबान जलाता है, वह उसके समान है जो मूरत को धन्य कहता है। इन सभों ने अपना अपना मार्ग चुन लिया है, और घिनौनी वस्तुओं से उनके मन प्रसन्न हाते हैं।

Comments

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *